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25 January 2012
हमारे घर का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा
हमारे घर का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा होते हैं दरवाजे। क्या आप जानते हैं दरवाजे किस्मत चमका भी सकते हैं और बिगाड़ भी सकते हैं। जी हां किसी भी घर के लिए यह जरूरी है कि दरवाजे किसी भी प्रकार से टूटे हुए नहीं होना चाहिए।
घर के दरवाजे सुंदर और आकर्षक होने चाहिए। इसके पीछे धार्मिक और वैज्ञानिक दोनों की कारण मौजूद हैं। दरवाजे ही हमारे घर की वास्तविक स्थिति बता देते हैं। यदि किसी व्यक्ति के घर के दरवाजे टूटे हुए हैं तो अधिकांश परिस्थितियों में ऐसा होता है कि उस घर की आर्थिक स्थिति सही नहीं रहती है। टूटे दरवाजे नकारात्मक ऊर्जा को अधिक सक्रिय कर देते हैं और सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह रोक देते हैं। ऐसे घर में रहने वाले लोगों के विचार भी नेगेटिव ही रहते हैं।
ऐसे दरवाजे की वजह से किसी भी कार्य को करने से पहले उस कार्य में असफलता का ख्याल पहले हमारे दिमाग में आता है। जिससे आत्मविश्वास में कमी आती है और कार्य बिगडऩे की संभावनाएं बढ़ जाती हैं। वास्तु के अनुसार भी टूटे दरवाजे वास्तु दोष उत्पन्न करते हैं। धर्म के अनुसार देखा जाए तो महालक्ष्मी उसी घर में सदैव निवास करती हैं जिस घर में साफ-सफाई, स्वच्छता के साथ ही सुंदरता भी हो। यदि घर में प्रवेश कराने वाला दरवाजा ही टूटा हुआ होगा तो ऐसे घर में महालक्ष्मी की कृपा की कमी रहती है। इन्हीं कारणों के चलते हमें इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि घर के सभी दरवाजे सुंदर और व्यवस्थित रहें।
खण्डित शिवलिंग, जिसकी पूजा होती है
खण्डित शिवलिंग, जिसकी पूजा होती है ।
हमारे देश में एक दो स्थानों पर और भी खण्डित शिवलिंग है जिनके साथ कई तरह की कथाएं जुडी हुई है किंतु इस शिवलिंग की जैसी प्रमाणिकता कहीं नहीं मिलती । जिस स्थान पर यह शिवलिंग है पहले समुद्र इस जगह तक फैला हुआ था और मो.गजनवी सोमनाथ पर 17 वीं बार आक्रमण करने के बाद राजस्थान की ओर वापसी में अपनी सेना के साथ इसी जगह पर पडाव डाला । उसकी सेना के घोडों की टापों से यह शिवलिंग टुट गया इसके बाद गजनवी नें इस शिवलिंग पर आकर अपना भाला घुसेड दिया और पैर रखकर खडा हो गया जिससे क्रुद्ध होकर भगवान शिव भौंरे के रूप में इस शिवलिंग के छिद्रों से बाहर आकर सारी सेना पर हमला कर दिये और गजनवी सहित सारी सेना को समाप्त कर दिये । जब आसपास के लोगों नें इस शिवलिंग को टुटा देखे तो इसकी पूजा बंद कर दिये लेकिन कुछ ही दिनों के बाद इस शइवलिंग से गंगाजल बाहर आने लगा जिसकी वजह से फिर से इस खण्डित शिवलिंग की पूजा प्रारंभ हो गई है ।
अब इस कथा को सुकर मैं चौंक गया की क्या सचमुच गजनवी की मौत यहीं पर हुई थी मैने फिर से पुछा और जवाब फिर यही मिला । जब मैने इस शिवलिंग को गौर से देखा तो सचमुच इसपर घडों की टापों के निशान दिखे और साथ ही बीच में एक गढ्ढा भी दिखा जिससे गंगाजल निकलता है । इस शिवलिंग पर कई गोल गोल छिद्र हैं जैसे अक्सर भौंरे या ततैय्या के घरौंदो के होते हैं ।
इसके बाद बारी थी गजनवी की ... मुझे इसकी मौत के बारें में कोई भी प्रमाणिकता अभी तक नही मिली है । उसकी मौत कैसे हुई है इस बारे में भी कोई उल्लेख नही हैं इसलिये मैं इस कथआ को सत्य मानते हुए यह कह सकता हूँ की गजनवी का अंत स्वयं भोलेनाथ नें ही किये हैं और उसके साथ उसकी सारी सेना को गायब करके साबित कर दिये की वे स्वयं अपनी रक्षा कर सकते हैं ।
अद्भुत बातें, जो जिंदगी के हर मोड़ पर काम आएंगी!
अद्भुत बातें, जो जिंदगी के हर मोड़ पर काम आएंगी!
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यहां हम अनुभवों का निचोड़ कुछ ऐसी कीमती बातें दे रहे हैं
जो जिंदगी को गहराई से जानने वाले ज्ञानियों ने नोट की हैं...
1. गुण - न हो तो रूप व्यर्थ है।
2. विनम्रता- न हो तो विद्या व्यर्थ है।
3. उपयोग- न आए तो धन व्यर्थ है।
4. साहस- न हो तो हथियार व्यर्थ है।
5. भूख- न हो तो भोजन व्यर्थ है।
6. होश- न हो तो जोश व्यर्थ है।
7. परोपकार- न करने वालों का जीवन व्यर्थ है।
8. गुस्सा- अक्ल को खा जाता है।
9. अहंकार- मन को खा जाता है।
10. चिंता- आयु को खा जाती है।
11. रिश्वत- इंसाफ को खा जाती है।
12. लालच- ईमान को खा जाता है।
13. दान- करने से दरिद्रता का अंत हो जाता है।
14. सुन्दरता- बगैर लज्जा के सुन्दरता व्यर्थ है।
15. दोस्त- चिढ़ता हुआ दोस्त मुस्कुराते हुए दुश्मन से अच्छा है।
16. सूरत- आदमी की कीमत उसकी सूरत से नहीं बल्कि सीरत यानी गुणों से लगानी चाहिय`
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यहां हम अनुभवों का निचोड़ कुछ ऐसी कीमती बातें दे रहे हैं
जो जिंदगी को गहराई से जानने वाले ज्ञानियों ने नोट की हैं...
1. गुण - न हो तो रूप व्यर्थ है।
2. विनम्रता- न हो तो विद्या व्यर्थ है।
3. उपयोग- न आए तो धन व्यर्थ है।
4. साहस- न हो तो हथियार व्यर्थ है।
5. भूख- न हो तो भोजन व्यर्थ है।
6. होश- न हो तो जोश व्यर्थ है।
7. परोपकार- न करने वालों का जीवन व्यर्थ है।
8. गुस्सा- अक्ल को खा जाता है।
9. अहंकार- मन को खा जाता है।
10. चिंता- आयु को खा जाती है।
11. रिश्वत- इंसाफ को खा जाती है।
12. लालच- ईमान को खा जाता है।
13. दान- करने से दरिद्रता का अंत हो जाता है।
14. सुन्दरता- बगैर लज्जा के सुन्दरता व्यर्थ है।
15. दोस्त- चिढ़ता हुआ दोस्त मुस्कुराते हुए दुश्मन से अच्छा है।
16. सूरत- आदमी की कीमत उसकी सूरत से नहीं बल्कि सीरत यानी गुणों से लगानी चाहिय`
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