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Saturday, February 18, 2012

बालक का मन इचा प्रबल होता है

बालक का मन इचा प्रबल होता है ,उन्हें देखने पर आपको समस्त जगत सुन्दर दिखाई देगा ,लेकिन जैसे वह आगे बढता है प्रकृति रास्ता रोके खड़ी रहती है ,उस प्राचीर को भंग करने के लिए वह बारम्बार प्रयाश करता है ,सारा जीवन जैसे आगे बदता जाता है ,उसका आदर्श दूर होता जाता है ,अंत माँ मृत्यु ----यही माया है
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Feetured Post

बेटी के ससुराल जा कर भूल के भी बदतमीज़ी से पेश ना आए

 अगर बेटी या बहन आपको अपने ससुराल वालो की शिकायत करे तो एक तरफ़ा राय ना बनाए आराम से बात करे गाली गलोच से नही, बेटी के ससुराल जा कर भूल के भ...